Shri Guru Mahima lyrics -श्री आनंदपुर की आनंदमयी श्री गुरु महिमा

Shri Guru Mahima lyrics – श्री गुरु महिमा ॥ श्लोक ॥ साकार रूपं परमात्मनः हे आत्मस्थितं तत् तव दर्शनं श्रीः । आनन्दसिन्धौ स्मरणं त्वदीशः मधुरोपदेशं शं ते दयालोः ॥ चरणारविन्दे कोटिः प्रणामः बद्धाञ्जलिभ्यो इव प्रार्थनैषा । वरदायकः यत् हस्तः त्वदीयः शिरसा सदैव दृष्टि: कृपालोः ॥ अर्थात् हे श्री परमहंस दयाल जी महाराज! आप निराकार परमात्मा … Read more

पूरण सतगुरु ब्रह्म स्वरूप – स्तुति

पूरण सतगुरु ब्रह्म स्वरूप । महिमा जिनकी अगम अनूप ।। 1 ।। पारब्रह्म गुरु सुख की खान । पर उपकारी पुरुष महान ।। 2 ।। गुरु की महिमा अगम अपार । वेद न पावें पारावर ॥ 3 ॥ गुरु समरथ गुरु कर्णधार ।जन जन का करते निस्तार ॥ 4 ॥ वचन गुरु के अमृत वाणी … Read more

स्वामी मेरा परमहंस महाराज – छन्द

स्वामी मेरा परमहंस महाराज छन्द टेक- स्वामी मेरा परमहंस महाराज, विद्या सागर परम आनन्द ॥ 1- आपने गुरु जी की सेवा कीन्ही, उन से निर्गुण भक्ति लीन्ही । गुरु जी को हिरदे बैठक दीन्ही, थे वे परम पुरुष आनन्द ॥ 2- आपने ध्यान में लिव लगाई, सकल ब्रह्म आतम जोत जगाई । जीव अजीव ब्रह्म … Read more

जय सत् चित् आनन्द मूरति – स्तोत्र

जय सत् चित् आनन्द मूरति – स्तोत्र जय सत्-चित्-आनन्द मूरति , स्वामी जी के चरण वन्दनम् । जो दे उपदेश क्लेश नाशैं, कलि के कलुष विभंजनम् ॥ 1 ॥ जो ज्ञान-निधि विज्ञान-दायक, घायकं घायकं सब सब दुष्कृतम् । युतयोग भोगहिं रोग जानें, सुख-दुखं सम अरि-मितम् ॥ 2 ॥ परमारथ पथ भेद वेद के, खेद बिन … Read more

श्री परमहंस दयाल जी, पूरण सुख के धाम ||विनती

श्री परमहंस दयाल जी – विनती ॥ दोहा ॥ श्री परमहंस दयाल जी, पूरण सुख के धाम । बार बार दण्डवत करूँ, कोटिन कोटि प्रणाम ॥ 1 ॥ हाथ जोड़ विनती करूँ, सतगुरु कृपानिधान । सेवा अपनी दीजिये, और भक्ति का दान ।। 2 ।। सुखदाता दुःखभंजना, सतगुरु तुम्हरो नाम । नाम अमोलक दीजिये, भक्ति … Read more

अमृत वेले गुरु दर्शन पाइये ||आराधन

टेक- अमृत वेले गुरु दर्शन पाइये, अपने गुरु जी पे बलि बलि जाइये । 1- परम पुरुष पूरण गुरु मेरे, जिनके सिमरत सूख घनेरे; स्वाँस स्वाँस में नाम ध्याइये । अमृत वेले ……. । 2- गुरु मूरत का करिये ध्यान, गुरु से माँगिये भक्ति दान; गुरु चरणों में प्रेम बढ़ाइये । अमृत वेले ……. ।। … Read more

ॐ जय श्री जगतारण,स्वामी जय श्री जगतारण

ॐ जय श्री जगतारण, स्वामी जय श्री जगतारण । शुभ मग के उपदेशक, यम त्रास निवारण ॥ ॐ जय ० (1) परमारथ अवतार जगत में,गुरु जी ने है लीन्हा; मेरे स्वामी जी ने है लीन्हा ।हम जैसे भागियन को, गृह दर्शन दीन्हा ॥ ॐ जय ० (2) कलि कुटिल जीव निस्तारण को, प्रभु सन्त रूप … Read more

Shri Swami Swarupanand ji history – रूहानियत के शहनशाह

Shri Swami Swarupanand ji Shri Swami Swarupanand ji का अवतरण बसन्त की सुहानी ऋतु ऋतुराज बनकर आई। कलियाँ मुसकान खिल उठीं। नव पल्लवों ने कोमलांगों द्वारा ऋतुराज का स्वागत किया। भ्रमर पुष्प पुष्प पर गुंजार भरने लगे। हरी-हरी दूब ने पृथ्वी को मखमली गलीचे से ढक दिया। नभ से देवता भी हर्षित होकर पुष्पवृष्टि करने … Read more

Shri Swami Advait Anand ji Maharaj

Swami Advait Anand ji श्री श्री 108 श्री स्वामी अद्वैत आनन्द जी महाराज Shri Swami Advait Anand ji का अवतरण भारत के नभोमण्डल पर खुशियों का एक नया रंग छा रहा था। जन जन का हृदय आनन्द में विभोर हो रहा था। चारों दिशाओं से वायु सुगन्धि छिटकाने लगी। न जाने इतना उल्लास कहां से … Read more

shri nangli sahib

shri nangli sahib – श्री नंगली निवासी भगवान सन्त-महापुरुष धुरधाम से पारमार्थिक कार्य की पूर्ति के लिए अवतरित होते हैं और इसी कार्य को ही करने में संलग्न रहते हैं। आप भी इसी नियमानुसार पारमार्थिक कार्य करते हुए प्रत्येक स्थान को अपने चरण कमलों से भाग्यशाली बना रहे थे। अब आप श्री नंगली साहिब पधारे … Read more

Shri Anandpur

Shri Anandpur dham Shri Anandpur dham श्री परमहंस अद्वैत मत के महान केन्द्र श्री आनन्दपुर की स्थापना श्री परमहंस दयाल जी श्री प्रथम पादशाही जी महाराज ने रूहानियत के उच्च सिद्धान्तानुसार भक्ति-परमार्थ का महान केन्द्र बनाने के लिए संकेत किया था। श्री सद्गुरुदेव महाराज जी श्री दूसरी पादशाही जी ने श्री परमहंस दयाल जी की … Read more